Report: Sanjeev Kumar, Senior journalist
बिहार और पटना डूबता रहा और नीतीश के शिर्षस्थ ऑफिसर चैन की बंशी बजाते रहे. बाढ़ और जलजमाव का चालीस सााल का कीर्तीमान टूट गया. ये क्रेडिट भी बिहार के अधिकारियों के नाम ही जाएगा .
सुशासन को डूबोने वाले प्रधान सचिवों पर सीएम नीतीश गुस्से में हुए लाल,पूछा- अलर्ट के बाद भी क्या कर रहे थे आपलोग?
पिछले तीन दिनों में हुई भारी बारिश ने राजधानी पटना में हीं सीएम नीतीश का सुशासन डूब गया ।डूबा भी तो ऐसा डूबा कि उससे निकलने का नाम हीं नहीं ले रहा। लाल फीताशाही के नकारेपन ने सीएम नीतीश के सुशासन को नाक तक डूबो दिया। इससे अकबकाए नीतीश ने पहले तो आपात बैठक कर हालात को संभालने की कोशिश की,लेकिन जब सबकुछ डांवाडोल होने लगा तो गुस्से से लाल हो गए। उन्हीं मातहत अधिकारियों पर जिनपर उनका भरोसा सौ फीसदी था।
भला बताइए सीएम को गुस्सा आकिर क्यूं न आए….इनके हीं सामने इनके हीं भरोसेमंद अधिकारियों ने भरोसा ऐसा तोड़ा कि सुशासन के चरित्र पर हीं बन आई। चौथे दिन जब यह पता चला कि हालात में बहुत बदलाव नहीं हो पाया है और सारी दुनिया में सुशासन की भद्द पीट रही है तब सीएम आपे से बाहर हो गए। फिर अधिकारियों को जोर का सुना दिया।
जानकारी के अनुसार सीएम नीतीश को अधिकारियों ने गुमराह किया था। मुख्यमंत्री को प्रधानसचिव लेवल के अधिकारियों ने गलत इनपुट दिया था। सब कुछ गंवाने के बाद जब मुख्यमंत्री को हकीकत का पता चला तो वे अपनी लाज बचाने के लिए दो प्रधानसचिव की जमकर क्लास लगा दी है।
बताया जाता है कि वे इस बात काफी खफा थे कि उन्हें गलत सूचना दी गई।वे इस बात से काफी नाराज थे कि जब मौसम विभाग ने जब अलर्ट किया था तो उस स्तर की तैयारी क्यों नहीं की गई।आपदा प्रबंधन और नगर विकास विभाग की कार्यशैली को लेकर सीएम नीतीश खासे नाराज थे।
सीएम नीतीश ने अधिकारियों से पूछा कि राजधानी में नाला बनाने वाली कंपनी के काम की रफ्तार इतनी धीमी क्यों है।जगह-जगह गड्ढा खोदकर क्यों छोड़ दिया गया है।नया नाला निर्माण होने के पहले हीं पुराने नाले को क्यों तोड़ा गया।जब अलर्ट था तो नगर निगम ने तैयारी क्यों नहीं की।नगर विकास विभाग क्या कर रहा था? सीएम नीतीश ने अधिकारियों से सवालों की झड़ी लगा दी….वहीं अधिकारियों की लापरवाही के संबंध और लापरवाह अधिकारियों पर कार्रवाई करने के संबंध में पूछे जाने पर आपदा प्रबंधन मंत्री ने चुप्पी साध ली।
अब बताईए अगला बारी केकर है …..खुद से पूछिये …जनता से पूछिये…अपने विधायक से पूछिये ….जबाब भी आपको मालूम ही है नीतीश जी. बस आपके डूबजाने की मंशा पर डिपेंड करता है. ऑपसन एक ही है……डूब जाना ही है …भाजपा भी तैयार है अपने मकसद के साथ.