Report: Sanjeev kumar
22जुलाई को जिस चंद्रयान 2 ने अपना चांद का सफर शुरु किया उसके चांद पर असफल लैंडिंग के बाद तरह तरह की बातें होने लगी है। 7 सितम्बर को चांद पर उतरने से पहले ही धरती से संपर्क क्या टूटा कई जगह से ज्ञान की बातें होने लगी ।इसरो के अबतक के सबसे बड़े अभियान को 95% की सफलता मिली ये भारतीय वैज्ञानिक ही नहीं नासा भी कह चुका है।लेकिन भारत में इसकी सफलता पर सवाल उठ रहे हैं।
अंतरिक्ष वैज्ञानिकों की बाढ़ आ गई है !
शुरुआती दौर में बिहार के एक महान ज्ञानी राजद विधायक विजय प्रकाश के अनुसार मोदी ने बेंगलूर जाकर सब बेकार कर दिया।विधायक जी के ज्ञान पर यकीं करे तो उसके अनुसार चंद्रयान 2 पहले ही फ़ेल हो चुका था वो तो मोदी को पब्लिसिटी चाहिये था इसलिये आधी रात तक इस बात को दबाया गया।
अब इतने दिनों बाद एक और अनुभवी और विद्वान नेता ज्ञान स्वामी पूर्व सी एम कुमार स्वामी ने एक बड़ा राज खोला है। दर असल मोदी जी इस पूरे मिशन का क्रेडिट लेना चाह रहे थे और जब वो बेंगलूर गये तो वहाँ काम करनेवालों की एकाग्रता टूटी जिसकी वजह से पूरा मिशन बर्बाद हो गया।
स्वामी यहीं तक नहीं रुके एक कदम आगे बढते हुआ कहा कि मोदी इस मिशन का क्रेडिट लेना चाह रहे थे ।वो इसे अपना और अपनी सरकार की उपलब्धि बताने की जबर्दस्ती कर रहे हैं।स्वामी के अनुसार ये योजना यू पी ए सरकार के समय की है जिसपर काफी पहले से काम चल रहा था।चलो मान लिया पर जरा स्वामी ये बताये क्या सेना और कोई वैज्ञानिक अभियान भी किसी सरकार की होती है क्या?
हमे तो लगता है इस तरह के बयान देनेवाले या सोच रखनेवलों को खुद जनता अपने अंदाज में जबाब दे ताकि फिर भविष्य मे कभी देश और देश अभियान को कोई भी शख्स दल -दल मे ना बांटने की कोशिश करे।