Report: Sanjeev Kumar, Senior journalist.
ये मोदी सरकार है , यहां कुछ भी मुमकिन है. ये हम नहीं कह रहे. ये किसी से भी अभी का समय कहलवा रहा है. दूसरी बार प्रधानमंत्री बनने के बाद जिस तरह से कई अप्रत्याशित फैसले मोदी सरकार ने लिए हैं उससे डर का माहौल जरूर बन गया है. यहां जिस डर की बात की जा रही है वो किसी असहिस्नुता या कट्टरता से कोई ताल्लुक नहीं रखता है. वैसे उदाहरण के लिए कहा जाय तो पहले कार्य काल में नोटबंदी के फैसले वाले डर से इसे समझा जा सकता है .
सर्जिकल स्ट्राईक की बात हो या फिर तीन तलाक का खात्मा सभी एक झटके की तरह
दूसरे कार्यकाल में सर्जिकल स्ट्राईक की बात हो या फिर तीन तलाक का खात्मा सभी एक झटके की तरह ही थे.और जब 370 आर्टिकल हटाने का फैसला लिया गया तो उस समय की अनुभूति अलग अलग लोगों के लिए अलग थी लेकिन इतना जरूर था कि वो सहसा विश्वसनीय तो नहीं था. ऐसे में इस देश में कब कौन सा फैसला किस समय आ जाएगा कहना मुश्किल है .
अब आते हैं असली मुद्दे पर बात हम डर की कर रहे थे, आखिर डर किस बात का ? जी हां डर तो बनता है. जिस तरह का माहौल देश में तैयार किया जा रहा है वो कहीं से भी सहज सामान्य नहीं है. बार बार सरकार और व्यवस्था पर हर तंत्र पर हावी होने का इल्जाम लगता है, पहले भी सरकारों पर कई तरह की तोहमतें लगाई जाती रही है. आज कहा जा रहा है कि न्याय-प्रणाली, जांच एजेंसिया या फिर हर तरह की सरकारी निगरानी व्यवस्थाएं सीधे सियासी कुर्सी पर बैठे लोगों के हाथों में रिमोट की तरह है. ये हम नहीं सभी विरोधी इस बात को तोते की तरह रटते रहते हैं .
दर-ब-दर हो रहे राम जी को 15 नवम्बर को अपने घर के बारे में बता दिया जाएगा
अब सबसे ताजे मामले की बात करते हैं. अयोध्या में राम जी को एक अदद घर दिलाने की जद्दोजहद काफी लोग और संस्थाएं किये जा रहे हैं. अभी तक किसी का हाउसिंग प्लान भगवान को उनका घर नहीं दिला पाया है . पर अब अक सूत्री दारोमदार न्यायालय को दिया गया है जिसे आपात स्थिति में काम करने का आदेश पारित किया गया है, किसने ऐसा किया है बोलना उचित नहीं है पर बोलने वाले बोल ही देते हैं. अभी तक दर-ब-दर हो रहे राम जी को 15 नवम्बर को अपने घर के बारे में बता दिया जाएगा कि उन्हे अयोध्या में रहना है या नहीं.
लेकिन अभी के हालात की बात करें तो उत्तर-प्रदेश में वहां के मुखिया, फैसले से पहले दुरुस्त हो जाना चाह रहे हैं.लेकिन जिस तरह से कुछ ज्यादा ही सुरक्षित-व्यवस्थित होने की कोशिश कर रहे हैं उससे एक डर का माहौल बनाते दिख रहे हैं. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को राम मंदिर पर आने वाले सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर सतर्कता बरतने और थाने स्तर पर तैयारी शुरू करने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने यह निर्देश बुधवार को लोकभवन में सभी जोन के अपर पुलिस महानिदेशकों के साथ समीक्षा बैठक में दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि अधिकारी अपना खुफिया तंत्र मजबूत करें। मंदिर पर फैसला आने के बाद जोश में होश खोने वालों और निराशा में कुछ करने वालों पर नजर रखें। उन्होंने कहा कि कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म होने के बाद अराजकता फैलाने का मौका ढूंढने वालों पर भी नजर रखने की जरूरत है।
योगी जी को अयोध्या पर आनेवाले फैसले की जानकारी है ?
हालांकि हमारे कहने का आशय यह कतई नहीं कि वो कोई गलत कदम उठा रहे हैं पर इतना तो हम कह ही सकते हैं कि अगर किसी अंजाम की जानकारी पहले से ही इन आकाओं को है तो इन्हे अपनी मंशा भी जाहिर ही करदेनी चाहिये. वैसे मामला कोर्ट का है पर विरोधी को तो बोलने का हक है और वो तो बोलेंगे ही.सवाल भी उठाएंगे अगर किसी तूफान की जानकारी इन्हे नहीं तो फिर ये तैयारी किस बात की? बिना वजह डर का माहौल क्यंू ?