नई दिल्ली। भारतीय टीवी के इतिहास का सबसे लंबा चलने वाला सीरियर तारक मेहता का उल्टा चश्मा के दर्शकों को उस वक्त धक्का लगा जब टीवी पर ये खबर आई कि सीरियल के अहम किरदार डॉ हाथी की अचानक मृत्यु हो गई। सब टीवी के सबसे पॉपुलर और देश का सबसे लंबा चलने वाला सीरियल तारक मेहता का उल्टा चश्मा में डॉ हंसराज हाथी का किरदार निभाने वाले कवि कुमार आजाद की अचानक मृत्यु हो गई। दो तीन दिन से बीमार चल रहे कवि कुमार का निधन हर्ट अटैक की वजह से हो गया। सोमवार को अचानक उनकी तबीयत बिगड़ गई और हर्ट अटैक की वजह से उनकी मौत हो गई। संयोग देखिए कि मौत से ठीक पहले डॉ हाथी ने शो के प्रोड्यूसर असित कुमार मोदी को फोन पर बात की थी और अपनी तबीयत खराब होने की वजह से शूटिंग पर न आ पाने की असमर्थता जताई थी। कवि कुमार के निधन पर असित मोदी समेत शो के सभी कलाकारों और फैंस में शोक का मौहाल है। शूटिंग को फौरन रद्द कर दिया गया।
कवि कुमार के बारे में बताए तो मूलरूप से बिहार के रहने वाले कवि शुरू से ही एक्टिंग का शौक रखते थे। एक्टिंग की वजह से उन्होंने बचपन में ही घर छोड़ दिया था। वो जानते थे कि वहां रहकर वो अपना सपना पूरा नहीं कर सकेंगे, इसलिए वो कम उम्र में ही घर से भाग गए। मुंबई आकर उन्होंने काम की तलाश शुरू कर दी, लेकिन उन्हें काम नहीं मिल पाया। बढ़े हुए वजन की वजह से उन्हें काम नहीं मिल पा रहा था, कवि कुमार हताश नहीं हुए और उन्होंने कोशिश जारी रखी। साल 2008 में सफलता मिली जब तारक मेहता के लिए किरदारों का चुनाव किया जा रहा था। डॉ हाथी के किरदार के लिए शो के प्रोड्यूसर को कवि जैसा ही कलाकार चाहिए था। कवि का चयन हो गया। कवि ने अपने हंसमुख अंदाज से लोगों का दिल जीत दिया। वो बच्चों में खास कर फेमस थे। वो साल 2008 से लेकर अपने जीवन के अंतिम पड़ाव तक शो के साथ बने रहे। टीवी के अलावा कवि कुमार ने फिल्म में भी काम किया। साल 2000 में उन्हें बॉलीवुड फिल्म ‘मेला’ में काम मिला। उन्होंने आमिर खान के साथ इस फिल्म में काम किया और लोगों को अपने काम से प्रभावित किया। वहीं अपने वजन से परेशान कवि ने साल 2010 में सर्जरी भी करवाई थी और 80 किलो तक वजन कम किया था। सर्जरी के बाद उन्हें डाइट पर रहना पड़ता था। कवि कुमार को फ्री समय में लिखना पसंद था। वो युवाओं के साथ समय बिताना पंसद करते थे।