नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश में भाजपा ने कांग्रेस के हाथ से सत्ता छीन ली है। भले ही भाजपा सत्ता छीनने में कामियाब हो गई हो, लेकिन अब मुख्यमंत्री की ताजपोशी को लेकर पंच फंस गया है। भाजपा के सीएम कैंडिडेट प्रेम कुमार धूमल के चुनाव हारने के बाद अब हिमाचल में कौन मुख्यमंत्री पद संभालेगा इसे लेकर पेंच फंस गया है। नाम जेपी नड्डा का सामने अाया, लेकिन उनके नाम पर भी सहमति नहीं बन सकी। सूत्रों के अनुसार जेपी नड्डा और प्रेम कुमार धूमल, दोनों रेस से बाहर हैं और पार्टी ने हारे हुए नेता की बजाय किसी विधायक को ही सीएम बनाने का निर्णय लिया है। यानी हिमाचल प्रदेश का नया मुख्यमंत्री भाजपा के विजय उम्मीदवारों में से ही कोई एक होगा।
पार्टी पर्यवेक्षक निर्मला सीतारमण और केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर शिमला पहुंचकर इस बात का फैसला कर सकते हैं। माना जा रहा है कि धूमल के करीबी जय राम ठाकुर के नाम पर सहमति बन सकती है। चूंकि धूमल खेमा ठाकुर के साथ है तो उनका नाम सीएम की रेस में शामिल किया जा सकता है, वहीं धूमल खुद का नाम भी इस रेस में शामिल रखना चाहते हैं। उनके करीबी विधायक उनके लिए अपनी सीट तक छोड़ने को तैयार है। वहीं संघ प्रमुख मोहन भागवत के करीबी अजय जम्वाल भी रेस में आगे चल रहे है। हिमाचल प्रदेश में ब्राह्मणों समुदाय के मतदाता 20 फीसदी और राजपूत समुदाय के मतदाता 35 फीसदी हैं। चूंकि जय राम ठाकुर और अजय जम्वाल दोनों राजपूत समुदाय से ताल्लुक रखते हैं और पीएम खुद भी साफ कर चुके हैं कि गुजरात हो या हिमाचल प्रदेश की कमान युवा कंधों पर सौंपी जाएगी ऐसे में इन दोनों के नाम सबसे आगे चल रहे हैं। माना जा रहा है कि गुरुवार को होने वाली बैठक में मुख्यमंत्री पद के नाम पर मुहर लग जाएगी।